Saturday 10 December 2016

भारत की इन जगहों पर प्रतिबंधित है आपका प्रवेश, लेनी पड़ती है विशेष परमिशन

By: Secret On: 21:15
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  • भारत की इन जगहों पर प्रतिबंधित है आपका प्रवेश, लेनी पड़ती है विशेष परमिशन

    Banned Indian Places For Tourist : देश के अलग-अलग हिस्सों में कई ऐसे प्लेसेस हैं, जहां लोगों के जाने पर बैन लगा हुआ है। आपको जानकर भले ही हैरत हो रही होगी, लेकिन ये सच है। स्थानीय लोगों को छोड़ दिया जाए तो इन जगहों पर जाने के लिए इनर लाइन परमिट लेना होता है। ये कानून देश-दुनिया के अलग-अलग हिस्सों से आए तमाम टूरिस्ट्स के लिए मान्य है।बताया जाता है कि ये सभी प्लेसेस दूसरे देशों की सीमाओं के नजदीक स्थित हैं, ऐसे में सुरक्षा कारणों से बगैर आदेश के एंट्री नहीं मिलती है। हालांकि, परमिशन लेकर जाने वाले लोग एक तय समय सीमा तक ही इन क्षेत्रों में घूम सकते हैं। इसके बाद टूरिस्ट को उन प्लेसेस को देखकर वापस लौट जाना होता है। ऐसे में आज हम आपको भारत के 5 ऐसे प्लेसेस के बारे में बताने जा रहे हैं।
    क्या है इनर लाइन परमिट (What is Inner Line Permit)
    इनर लाइन परमिट भारत का आधिकारिक यात्रा दस्तावेज है, जो देश और विदेशों के टूरिस्ट्स को प्रोटेक्टेड एरिया में जाने के लिए परमिट देता है। ये परमिट तय समय सीमा और कुछ लोगों के लिए ही मान्य होता है। मुख्यत: ये परमिट भारत में इस समय सिर्फ तीन राज्यों – मिजोरम, नागालैंड और अरुणाचल प्रदेश में ही पूर्ण रुप से लागू है। हालांकि, इन राज्यों के अलावा दूसरे देशों के बॉर्डर लाइन पर भी इस परमिट की आवश्यकता होती है।
    कोहिमा, नागालैंड (Kohima, Nagaland)
    Kohima - Banned Indian PlacesFor Tourist - Hindi Information
    पहाड़ की एक ऊंचे चोटी पर बसा कोहिमा भारत के उत्तर-पूर्वी राज्य नागालैंड की राजधानी है, जो अंगामी नागा जनजाति की भूमि है। इसे एशिया का स्विट्जरलैंड भी कहा जाता है। यहां पर जाने के लिए इनर परमिट लाइन की आवश्यकता होती है।
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    लोकतक लेक, मणिपुर (loktak lake, Manipur)
    loktak lake Manipur - Banned Indian PlacesFor Tourist - Hindi Information
    भारत के उत्तर-पूर्व में सबसे बड़े साफ पानी की लेक के रुप में प्रख्यात लोकतक झील झील में कई जगह पर भूखंड के टुकड़े तैरते हुए दिखाई देते हैं, जिनमें पानी भरा हुआ होता है। इन टुकड़ों को फुमदी के नाम से जाना जाता है, जो मिट्टी, पेड़-पौधों और जैविक पदार्थों से मिलकर कठोर संरचना में बने होते हैं। अपने अनोखेपन के कारण ये झील लोगों को खूब आकर्षित करती है। हालांकि, इस झील को देखने के लिए भी इनर लाइन परमिट लेने की आवश्यकता है।

    चांगु लेक, सिक्किम (Changu lake, Sikkim)
    Changu Lake - Banned Indian PlacesFor Tourist - Hindi Information
    चांगु लेक सिक्किम का प्रमुख टूरिस्ट डेस्टिनेशन है। सर्दियों में इस झील का पानी पूरी तरह से जम जाता है। हालांकि, यहां पर भी आने के लिए इनर लाइन परमिट लेने की आवश्यकता होती है।
    जीरो, अरुणाचल प्रदेश (Ziro, Arunachal Pradesh)
    Ziro Arunachal Pradesh - Banned Indian PlacesFor Tourist - Hindi Information
    अरुणाचल प्रदेश में भी इनर लाइन परमिट लागू है। इस कारण से यहां भी परमिशन लेकर ही कोई जा सकता है। यहां पर कई शानदार टूरिस्ट अट्रैक्शन हैं, लेकिन इनमें सबसे पॉपुलर जीरो वैली है। इस वैली को वर्ल्ड हेरिटेज साइट्स में शुमार किया जाता है। बता दें कि इस वैली के पास ही आपातानी ट्राइब से जुड़े लोग रहते हैं।
    आइजोल, मिजोरम (Izol, Mizoram)
    Izol Mizoram - Banned Indian PlacesFor Tourist - Hindi Information
    मिजोरम की राजधानी आइजोल में कई शानदार प्लेसेस हैं, जिसे देखने के लिए दुनियाभर से लोग आते हैं। इनमें म्यूजियम, हिल स्टेशन, स्थानीय लोग और उनकी कला शामिल है। हालांकि, मिजोरम में भी इनर लाइन परमिट लागू है। इस वजह से यहां लिमिटेड टाइम पीरियड के लिए कोई व्यक्ति परमिशन लेकर जा सकता है।

    पीयूष गोयल- जिन्होंने पाँच अदभुत तरीकों से लिखी है पुस्तकें

    By: Secret On: 17:30
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  • पीयूष गोयल- जिन्होंने पाँच अदभुत तरीकों से लिखी है पुस्तकें

    उल्‍टे अक्षरों से लिख गई भागवत गीता (Bhagwat Gita)
    Piyush Goel- Who wrote books in 5 amazing way
    आप इस भाषा को देखेंगे तो एकबारगी भौचक्के रह जायेंगे। आपको समझ में नहीं आयेगा कि यह किताब किस भाषा शैली में लिखी हुई है। पर आप जैसे ही दर्पण ( शीशे‌ ) के सामने पहुंचेंगे तो यह किताब खुद-ब-खुद बोलने लगेगी। सारे अक्षर सीधे नजर आयेंगे। इस मिरर इमेज किताब को पीयूष ने लिखा है। मिलनसार पीयूष मिरर इमेज की भाषा शैली में कई किताबें लिख चुके हैं।
    सुई से लिखी मधुशाला ( Madhushala )
    Piyush Goel- Who wrote books in 5 amazing way
    पीयूष ने एक ऐसा कारनामा कर दिखाया है कि देखने वालों आँखें खुली रह जाएगी और न देखने वालों के लिए एक स्पर्श मात्र ही बहुत है। पीयूष ने पूछने पर बताया कि सुई से पुस्तक लिखने का विचार क्यों आया ? अक्सर मुझ से ये पूछा जाता था कि आपकी पुस्तकों को पढ़ने के लिए शीशे की जरूरत पड़ती है। पढ़ना उसके साथ शीशा, आखिर बहुत सोच समझने के बाद एक विचार दिमाग में आया क्यों न सूई से कुछ लिखा जाये सो मैंने सूई से स्वर्गीय श्री हरिवंशराय बच्चन जी की विश्व प्रसिद्ध पुस्तक ‘मधुशाला’ को करीब 2 से ढाई महीने में पूरा किया। यह पुस्तक भी मिरर इमेज में लिखी गयी है और इसको पढ़ने लिए शीशे की जरूरत नहीं पड़ेगी क्योंकि रिवर्स में पेज पर शब्दों के इतने प्यारे मोतियों जैसे पृष्ठों को गुंथा गया है, जिसको पढ़ने में आसानी रहती हैं और यह सूई से लिखी ‘मधुशाला’ दुनिया की अब तक की पहली ऐसी पुस्तक है जो मिरर इमेज व सूई से लिखी गई है।
    मेंहदी कोन से लिखी गई गीतांजलि ( Gitanjali )
    Piyush Goel- Who wrote books in 5 amazing way
    पीयूष ने एक और नया कारनामा कर दिखाया है उन्होंने 1913 के साहित्य के नोबेल पुरस्कार विजेता रविन्द्रनाथ टैगोर की विश्व प्रसिद्ध कृति ‘गीतांजलि’ को ‘मेंहदी के कोन’ से लिखा है। उन्होंने 8 जुलाई 2012 को मेंहदी से गीतांजलि लिखनी शुरू की और सभी 103 अध्याय 5 अगस्त 2012 को पूरे कर दिए।इसको लिखने में 17 कोन तथा दो नोट बुक प्रयोग में आई हैं। पीयूष ने श्री दुर्गा सप्त शती, अवधी में सुन्दरकांड, आरती संग्रह, हिंदी व अंग्रेजी दोनों भाषाओं में श्री साईं सत्चरित्र भी लिख चुके हैं। ‘रामचरितमानस’ (दोहे, सोरठा और चौपाई ) को भी लिख चुके हैं।
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    कील से लिखी ‘पीयूष वाणी’
    Piyush Goel- Who wrote books in 5 amazing way
    अब पीयूष ने अपनी ही लिखी पुस्तक ‘पीयूष वाणी’ को कील से ए-फोर साइज की एल्युमिनियम शीट पर लिखा है। पीयूष ने पूछने पर बताया कि कील से क्यों लिखा है ? तो उन्होंने बताया कि वे इससे पहले दुनिया की पहली सुई से स्वर्गीय श्री हरिवंशराय बच्चन जी की विश्व प्रसिद्ध पुस्तक ‘मधुशाला’ को लिख चुके हैं। तो उन्हें विचार आया कि क्यों न कील से भी प्रयास किया जाये सो उन्होंने ए-फोर साइज के एल्युमिनियम शीट पर भी लिख डाला।
    कार्बन पेपर की मदद से लिखी ‘पंचतंत्र’ ( Carbon paper written ‘Panchatantra’ )
    Piyush Goel- Who wrote books in 5 amazing way
    Piyush Goel- Who wrote books in 5 amazing way
    पीयूष गोयल
    गहन अध्ययन के बाद पीयूष ने कार्बन पेपर की सहायता से आचार्य विष्णुशर्मा द्वारा लिखी ‘पंचतंत्र’ के सभी ( पाँच तंत्र, 41 कथा ) को लिखा है। पीयूष ने कार्बन पेपर को (जिस पर लिखना है) के नीचे उल्टा करके लिखा जिससे पेपर के दूसरी और शब्द सीधे दिखाई देंगे यानी पेज के एक तरफ शब्द मिरर इमेज में और दूसरी तरफ सीधे।

    Friday 9 December 2016

    अनंतपुर मंदिर, केरल- इस मंदिर का रखवाली करता है शाकाहारी मगर, हाथ से खाता है खाना

    By: Secret On: 18:00
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  • अनंतपुर मंदिर, केरल- इस मंदिर का रखवाली करता है शाकाहारी मगर, हाथ से खाता है खाना

    Ananthapura Crocodile Temple History Kerala Hindi  : भारत में ऐसे कई स्थान हैं जहां की मान्यताओं के बारे में स्थानीय लोगों के अलावा और कोई नहीं जानता। इन मान्यताओं के पीछे बहुत सारे दावे होते हैं। कुछ मान्यताएं इतनी दिलचस्प हैं जिनके बारे में आप भी जानना चाहेंगे साथ ही इन मान्यताओं के बारे में जानकर चौंक जाएंगे। ऐसी ही एक मान्यता की जानकारी आज हम आपको दे रहे हैं…
    Ananthapura temple Crocodile History Kerala Hindi
    इस मंदिर की झील में रहता है शाकाहारी मगरमच्छ
    केरल का अनंतपुर मंदिर जो कासरगोड में स्थित है, यह केरल का एकमात्र झील मंदिर है। इस मंदिर की यह मान्यता है कि यहां की रखवाली एक मगरमच्छ करता है। ‘बबिआ’ नाम के मगरमच्छ से फेमस इस मंदिर में यह भी मान्यता है कि जब इस झील में एक मगरमच्छ की मृत्यु होती है तो रहस्यमयी ढंग से दूसरा मगरमच्छ प्रकट हो जाता है। दो एकड़ की झील के बीचों-बीच बना यह मंदिर भगवान विष्णु (भगवान अनंत-पद्मनाभस्वामी) का है। मान्यता है कि मंदिर की झील में रहने वाला यह मगरमच्छ पूरी तरह शाकाहारी है और पुजारी इसके मुंह में प्रसाद डालकर इसका पेट भरते हैं।
    पुजारियों के हाथ से प्रसाद खाता है यह ‘शाकाहारी मगरमच्छ’
    स्थानीय लोगों का कहना है कि कितनी भी ज्यादा या कम बारिश होने पर झील के पानी का स्तर हमेशा एक-सा रहता है। यह मगरमच्छ अनंतपुर मंदिर की झील में करीब 60 सालों से रह रहा है। भगवान की पूजा के बाद भक्तों द्वारा चढ़ाया गया प्रसाद बबिआ को खिलाया जाता है। प्रसाद खिलाने की अनुमति सिर्फ मंदिर प्रबंधन के लोगों को है। मान्यता है कि यह मगरमच्छ पूरी तरह शाकाहारी है और प्रसाद इसके मुंह में डालकर खिलाया जाता है। स्थानीय लोगों का कहना है कि मगरमच्छ शाकाहारी है और वह झील के अन्य जीवों को नुकसान नहीं पहुंचाता।
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    Ananthapura temple Crocodile Story
    यही है वो शाकाहारी मगरमच्छ जो है मंदिर का रखवाला
    अंग्रेज सिपाही ने गोली से मार दिया था मगरमच्छ, अगले की दिन पानी में तैरता मिला वही मगर
    कहते है कि 1945 में एक अंग्रेज सिपाही ने तालाब में मगरमच्छ को गोरी मारकर मार डाला और अविश्वसनीय रूप से अगले ही दिन वही मगरमच्छ झील में तैरता मिला। कुछ ही दिनों बाद अंग्रेज सिपाही की सांप के काट लेने से मौत हो गई। लोग इसे सांपों के देवता अनंत का बदला मानते हैं। माना जाता है कि अगर आप भाग्यशाली हैं तो आज भी आपको इस मगरमच्छ के दर्शन हो जाते हैं। मंदिर के ट्रस्टी श्री रामचन्द्र भट्ट जी कहते हैं, “हमारा दृढ़ विश्वास है कि ये मगरमच्छ ईश्वर का दूत है और जब भी मंदिर प्रांगण में या उसके आसपास कुछ भी अनुचित होने जा रहा होता है तो यह मगरमच्छ हमें सूचित कर देता है”।
    Ananthapura temple Crocodile Story
    हाथ से प्रसाद खाता है यह ‘शाकाहारी मगरमच्छ’
    पत्थर की नहीं 70 से ज्यादा औषधियों से बनी है इस मंदिर की मूर्तियां
    इस मंदिर की मूर्तियां धातु या पत्थर की नहीं बल्कि 70 से ज्यादा औषधियों की सामग्री से बनी हैं। इस प्रकार की मूर्तियों को ‘कादु शर्करा योगं’ के नाम से जाना जाता है। हालांकि, 1972 में इन मूर्तियों को पंचलौह धातु की मूर्तियों से बदल दिया गया था, लेकिन अब इन्हें दोबारा ‘कादु शर्करा योगं’ के रूप में बनाने का प्रयास किया जा रहा है। यह मंदिर तिरुअनंतपुरम के अनंत-पद्मनाभस्वामी का मूल स्थान है। स्थानीय लोगों का विश्वास है की भगवान यहीं आकर स्थापित हुए थे।
    मान्यता है कि झील में एक मगरमच्छ की मृत्यु होती है तो रहस्यमयी ढंग से दूसरा मगरमच्छ प्रकट हो जाता है।

    भारत के ये 10 हाईवे माने जाते है ‘हॉन्टेड’

    By: Secret On: 07:00
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  • भारत के ये 10 हाईवे माने जाते है ‘हॉन्टेड’

    Most Haunted Roads And Highways In India : Hindi Information –  अगर आप किसी सुनसान हाईवे पर रात में ड्राइव कर रहे हों और अचानक कोई सफेद साड़ी पहनी औरत दिख जाए, या फिर अचानक किसी रास्ते से गुजरते हुए आपके शरीर में खुद-ब-खुद कंपकंपी छूटने लगे, तो एकबारगी आप भी डर जाएंगे। लेकिन ये कोई सीरियल या फिल्म की स्क्रिप्ट नहीं, सच्चाई है। और ये हाईवे भी कहीं किसी और देश में नहीं, बल्कि भारत में ही हैं। इन्हें HAUNTED माना गया है क्योंकि इनसे जुड़े डर के किस्से काफी मशहूर हैं, जो अक्सर सुनने मिलते हैं। अगर आपने न सुने हों, तो एकबार जान लीजिए इन हाईवेज के बारे में, ताकि अगली बार जाएं, तो कम से कम ये जरूर देख लें कि रात न हो।आज हम आपको देश के उन हाईवे की जानकारी दे रहे है, जो HAUNTED माने जाते हैं। हालांकि, ऐसी किसी भी जानकारी की पुष्टि नहीं हुई है, इसलिए इस पर फैसला स्वयं करें। हम इन 10 जगहों की जानकारी चर्चाओं, किस्से और ऐसी गतिविधियों के आधार पर दे रहे हैं।
    1. स्टेट हाईवे-49,  ईस्ट कोस्ट रोड (State Highway-49, East coast road)
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    State Highway 49 यह दो लाइन का हाईवे है जिसे नाम से East Coast Road (ECR) भी जाना जाता है, जो की पश्चिम बंगाल को तमिल से जोड़ता है, चेन्नई से पांडिचेरी के बीच का ये रास्ता भूत की वजह से काफी डरावना है, खासकर रात में। ड्राइवरों ने बताया है कि रात में अचानक एक सफेद साड़ी पहनी औरत दिखाई देती है, जिससे उनका ध्यान टूट जाता है और एक्सीडेंट हो जाता है। एक और बात, औरत दिखने के बाद ही ड्राइवरों को महसूस होता है कि रात का तापमान अचानक गिर रहा है और रोड भी सिकुड़ रही है। कई ने यह भी बताया है कि जब सफेद साड़ी वाली औरत दिखती है, तो रीढ़ की हड्डी के नीचे कंपन महसूस होता है।
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    2- दिल्ली कंटोनमेंट रोड (Delhi Cantonment Road)
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    इस रास्ते पर भी सफेद साड़ी वाली औरत दिखती है। दिल्ली के लोगों के लिए यह रास्ता पहले से ही भूतिया है। यहां से गुजरते वक्त उन्हें डर लगता है, ऐसा उन्होंने कई बार बताया भी है। ऐसा कोई नहीं जो इस रास्ते से गुज़रा हो और उसे यह महिला न दिखाई दी हो।
    3-रांची-जमशेदपुर NH-33 (Ranchi Jamshedpur Highway-33)
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    यह देश का एकमात्र ऐसा हाईवे है, जहां हादसे स्वाभाविक कम अस्वाभाविक रूप से ज्यादा होते हैं। सीधे शब्दों में कहें तो इस रास्ते पर भूत की वजह से ज्यादा हादसे होते हैं। इस हाईवे को पार करने में लोग इसलिए भी डरते हैं क्योंकि इसके दोनों कोनों पर मंदिर हैं। ऐसी मान्यता है कि मंदिर में पूजा किए बिना निकलने वाले लोगों को भूत परेशान करते हैं, जिसके नतीजतन हादसे होते हैं। इस हाइवे से गुजरने वाले अधिकांश ड्राइवर्स सफेद साड़ी पहनी एक लंबी औरत देखने का दावा करते हैं।
    4-मार्वे-मड आइलैंड रोड (Marve-Mud Island Mumbai)
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    मुंबई का मड आइलैंड जितना खूबसूरत है, उस तक पहुंचने का रास्ता उतना ही डरावना। यह रास्ता काफी संकरा है और सुनसान भी। ड्राइवरों ने बताया है कि उन्हें इस रास्ते पर रात में एक शादी का जोड़ा पहने महिला दिखाई देती है, जिसके साथ कुछ डरावनी आवाज़ें भी सुनाई देती हैं।
    5-कसारा घाटः मुंबई-नासिक हाईवे (Kasara Ghat : Mumbai Nashik Highway)
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    मुंबई-नासिक हाईवे का कसारा घाट डरावना है क्योंकि यहां भूत दिखने और अहसास होने के कई किस्से सामने आ चुके हैं। कभी किसी को बिना सिर की बुजुर्ग महिला दिखती है, तो किसी को पेड़ पर बैठा हुआ बुजुर्ग। सड़क के दोनों ओर घने पेड़ होने से रात के वक्त यह रास्ता बेहद डरावना हो जाता है।
    6- कशेदी घाटः मुंबई-गोआ हाईवे (Kashedi Ghat- Mumbai-Goa Highway)
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    यह इलाका भी काफी डरावना है। यहां अब सैकड़ों हादसे हुए हैं और कई लोगों ने अपनी जान गंवाई है। ट्रक का गिरना, बस पलट जाना और लोगों की मौत होना आम हो गया है। जो लोग जिंदा बच गए या किसी तरह बच कर निकल गए, वे बताते हैं कि ”रात के वक्त चलती गाड़ी के सामने अचानक एक व्यक्ति आ जाता है और गाड़ी रोकने का इशारा करता है, जिससे संतुलन बनाए रखना काफी मुश्किल हो जाता है। जो ड्राइवर नहीं रुकते उनका एक्सीडेंट हो जाता है।”
    7-NH-209: सत्यमंगलम वाइल्डलाइफ सेंचुरी कॉरीडोर  (Sathyamangalam wildlife sanctuary corridor)
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    इस फारेस्ट रिजर्व से गुजरने वालों को कभी मशहूर चंदन तस्कर वीरप्पन का डर सताता था, लेकिन अब डरावनी आवाज़ें, अनजान परछाइयां और डरावनी रोशनी उन्हें परेशान करती है। यहां से गुजरने वाले इस भूतिया अहसास से कांप जाते हैं। कुछ तो ये भी कहते हैं कि इस रास्ते पर वीरप्पन का भूत है।
    8-ब्लू क्रास रोड (Blue Cross Road)
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    चेन्नई की इस रोड पर अचानक आत्महत्याएं बढ़ गई हैं। लोगों का कहना है कि यहां आत्महत्या करने वालों की आत्माएं घूमती हैं। अंधेरा होने पर लोगों ने अनजानी सफेद आकृति दिखने की बात बताई है, जो काफी दूर तक उनके साथ चलती है।
    9-बेसेंट एवेन्यू रोड (Besant Avenue Road)
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    सुबह होने के तुरंत बाद से चेन्नई का यह रास्ता काफी भीड़ भरा होता है, लेकिन सूरज डूबने के साथ ही यहां डरावनी गतिविधियां शुरू हो जाती हैं। लोगों ने बताया है कि उन्हें महसूस हुआ कि कोई उन्हें थप्पड़ मार रहा है या किसी ने चलते-चलते अचानक उन्हें दूर उठाकर फेंक दिया। ऐसे अनगिनत किस्से हैं, जो हर रोज़ बढ़ रहे हैं।
    10- दिल्ली-जयपुर हाइवे (Delhi Jaipur Highway)
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    भानगढ़ का डरावना किला आपको याद होगा, बता दें ये इसी रास्ते पर है। दिल्ली-जयपुर हाईवे पर रात के वक्त डरावने किस्से अक्सर सुनने मिलते हैं। यहां से गुज़रने वाले ड्राइवरों का कहना है कि वे बता नहीं सकते कि उन्होंने असल में क्या अनुभव किया खासकर तब जब वे भानगढ़ किले के आसपास होते हैं।

    Thursday 8 December 2016

    भारत के इन मंदिरों में होती है तांत्रिक क्रियाएं (Tantra Mantra Temples in India)

    By: Secret On: 17:30
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  • भारत के इन मंदिरों में होती है तांत्रिक क्रियाएं (Tantra Mantra Temples in India)

    Famous Indian Tantric Temples Information in Hindi : भारत के इन मंदिरों में होती है तांत्रिक क्रियाएं – भारत अपनी प्राचीन सभ्यता के लिए जाना जाता है। जिसमें पूजा-पाठ से लेकर तंत्र-मंत्र से सम्बंधित विद्याओं का भी समवेश होता है। और पूरे भारत में कई ऐसे मंदिर है, जहाँ तांत्रिक अपनी विद्या का प्रदर्शन कर देवी-देवताओं को खुश करते हैं। इन मंदिरों में जहाँ एक ओर तांत्रिक तंत्र क्रियाओं का प्रयोग करते हैं, वहीं यहं भूत-पिचाशों की समस्या से लोगों को छुटकारा दिया जाता है। आइये जानते हैं कौन-से हैं ये मंदिर, जो तांत्रिकों के गढ़ के नाम से जाने जाते हैं।
    1. वेताल मंदिर, ओडिसा (Vetal temple, Orissa)
    vetal temple orissa information in Hindi
    8वीं सदी में बने भुवनेश्वर के इस मंदिर में बलशाली चामुण्डा की मूर्ति है। बलशाली चामुण्डा काली का ही एक रूप है। इस मंदिर में तांत्रिक क्रियाएं हमेशा चलती ही रहती है।
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    2. बैजनाथ मंदिर , हिमाचल प्रदेश (Vaijnath temple Himachal)-
    Vaijnath temple Himachal - A famous Tantrik Temple
    इस मंदिर में शिव भगवान का प्रसिद्ध वैधनाथ लिंग है। बैजनाथ मंदिर अपनी तांत्रिक क्रियाओं और यहां का पानी अपनी पाचन शक्तियों के लिए प्रसिद्ध है।
    3. एकलिंग मंदिर, राजस्थान (Eklingji temple, Rajasthan) – 
    Eklingji temple, Rajasthan Hindi History
    भगवान शिव को समर्पित एकलिंग जी मंदिर उदयपुर के पास है। यहां शिव की एक अनोखी और बेहद खूबसूरत चौमुखी मूर्ति है जो काले संगमरमर से बनी है।
    4. कालीघाट, कोलकाता (Kalighat temple, Kolkata) – 
    Kalighat temple, Kolkata - Tantric Temple
    कोलकाता का कालीघाट तांत्रिकों के लिए बहुत महत्वपूर्ण तीर्थ है। मान्यताओं के अनुसार इस जगह पर देवी सती की उंगलियां गिरी थी।
    5. कामाख्या मंदिर, असम (Kamakhya Temple, Assam) –
    Kamakhya Temple, Assam Hindi History
    असम का कामाख्या मंदिर तांत्रिक गतिविधियों का गढ़ माना जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, इस जगह पर देवी सती का योनि भाग गिरा था। सम्पूर्ण जानकारी के लिए यहाँ पढ़े – http://goo.gl/XxV8I7
    6. ज्वालामुखी मंदिर, हिमाचल प्रदेश (Jwalamukhi temple, Himachal) –
    Jwalamukhi temple, Himachal
    यह मंदिर अपने चमत्कार के साथ यहां होने वाली तांत्रिक क्रियाओं के लिए भी प्रसिद्ध है। यहां एक कुण्ड है, जो देखने पर उबलता दिखाई देता है लेकिन छूने पर पानी ठंडा रहता है। सम्पूर्ण जानकारी के लिए यहाँ पढ़े – http://goo.gl/mfDC5K
    7. खजुराहो मंदिर, मध्य प्रदेश (Khajuraho temple, Madhya pradesh)
    Khajuraho temple, Madhya pradesh
    खजुराहो मंदिर कलात्मक रचना और कामुक मूर्तियों के लिए प्रसिद्ध है। लेकिन कम ही लोग जानते है कि खजुराहो तांत्रिक गतिविधियों के लिए एक महत्वपूर्ण स्थान है।
    8. काल भैरव मंदिर, मध्य प्रदेश (Kaal bhairav temple, Ujjain) – 
    Kaal bhairav temple, Ujjain
    इस मंदिर में भैरव की श्याममुखी मूर्ति है। तांत्रिक क्रियाओं के लिए ये मंदिर बहुत प्रसिद्ध है। देशभर से तांत्रिक और अघोरी सिद्धियों के लिए यहां आते है। सम्पूर्ण जानकारी के लिए यहाँ पढ़े – http://goo.gl/WV8BaF
    9. बालाजी मंदिर, राजस्थान (Mehandipur balaji, Rajasthan) – 
    Mehandipur balaji, Rajasthan
    यह मंदिर तंत्र की नजर से बहुत पवित्र माना जाता है। कहते है कि जिन लोगो पर प्रेत या आत्मा का साया पड़ जाता है वो यहां झाड़-फूंक के लिए आते है।

    रामनामी समाज (Ramnami Samaj) – यहाँ पुरे शरीर पर लोग लिखवाते है राम नाम, आखिर क्यों?

    By: Secret On: 08:00
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  • रामनामी समाज (Ramnami Samaj) – यहाँ पुरे शरीर पर लोग लिखवाते है राम नाम, आखिर क्यों?

    Ramnami Samaj History : 100 सालों से भी ज्यादा लंबे वक्त से छत्तीसगढ़ की रामनामी समाज में एक अनोखी परंपरा चली आ रही है। इस समाज के लोग पूरे शरीर पर राम नाम का टैटू बनवाते हैं, लेकिन न मंदिर जाते हैं और न ही मूर्ति पूजा करते हैं। इस तरह के टैटू को लोकल लैंग्वेज में गोदना कहा जाता है। दरअसल, इसे भगवान की भक्ति के साथ ही सामाजिक बगावत के तौर पर भी देखा जाता है। टैटू बनवाने के पीछे बगावत की कहानी…
    Ramnami Samaj Story in Hindi
    – कहा जाता है कि 100 साल पहले गांव में हिन्दुओं के ऊंची जाति के लोगों ने इस समाज को मंदिर में घुसने से मना कर दिया था। इसके बाद से ही इन्होंने विरोध करने के लिए चेहरे सहित पूरे शरीर में राम नाम का टैटू बनवाना शुरू कर दिया।
    क्या कहते हैं लोग…
    -रामनामी समाज को रमरमिहा के नाम से भी जाना जाता है।
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    -जमगाहन गांव के महेतर राम टंडन इस परंपरा को पिछले 50 सालों से निभा रहे हैं।
    -जमगाहन छत्तीसगढ़ के सबसे गरीब और पिछड़े इलाकों में से है।
    -76 साल के रामनामी टंडन बताते हैं, जिस दिन मैंने ये टैटू बनवाया, उस दिन मेरा नया जन्म हो गया।
    -50 साल बाद उनके शरीर पर बने टैटू कुछ धुंधले से हो चुके हैं, लेकिन उनके इस विश्वास में कोई कमी नहीं आई है।
    – नजदीकी गांव गोरबा में भी 75 साल की पुनई बाई इसी परंपरा को निभा रहीं हैं।
    – पुनई बाई के शरीर पर बने टैटू को वह भगवान का किसी खास जाति का ना होकर सभी के होने की बात से जोड़ती हैं।
    Ramnami Samaj History
    टैटू बनवाने के साथ ही राम नाम लिखे कपड़े भी पहनते हैं रामनामी।
    नई पीढ़ी ने खुद को इस परंपरा से दूर किया
    -रामनामी जाति के लोगों की आबादी तकरीबन एक लाख है और छत्तीसगढ़ के चार जिलों में इनकी संख्या ज्यादा है। सभी में टैटू बनवाना एक आम बात है।
    – समय के साथ टैटू को बनवाने का चलन कुछ कम हुआ है।
    – रामनामी जाति की नई पीढ़ी के लोगों को पढ़ाई और काम के सिलसिले में दूसरे शहरों में जाना पड़ता है।
    – इसलिए ये नई पीढ़ी पूरे शरीर पर टैटू बनवाना पसंद नहीं करती।
    – इस बारे में टंडन बताते हैं, आज की पीढ़ी इस तरह से टैटू नहीं बनवाती। ऐसा नहीं है कि उन्हें इस पर विश्वास नहीं है।
    – पूरे शरीर में न सही, वह किसी भी हिस्से में राम-राम लिखवाकर अपनी संस्कृति को आगे बढ़ा रहे हैं।
    Ramnami Samaj
    समाज के कुछ नियम
    -इस समाज में पैदा हुए लोगों को शरीर के कुछ हिस्सों में टैटू बनवाना जरूरी है।
    -खासतौर पर छाती पर और दो साल का होने से पहले।
    -टैटू बनवाने वाले लोगों को शराब पीने की मनाही के साथ ही रोजाना राम नाम बोलना भी जरूरी है।
    -ज्यादातर रामनामी लोगों के घरों की दीवारों पर राम-राम लिखा होता है।
    -इस समाज के लोगों में राम-राम लिखे कपड़े पहनने का भी चलन है, और ये लोग आपस में एक-दूसरे को राम-राम के नाम से ही पुकारते हैं।
    Ramnami Samaj Wiki
    समाज की दिलचस्प बातें
    -नखशिख राम-राम लिखवाने वाले सारसकेला के 70 वर्षीय रामभगत ने बताया कि रामनामियों की पहचान राम-राम का गुदना गुदवाने के तरीके के मुताबिक की जाती है।
    -शरीर के किसी भी हिस्से में राम-राम लिखवाने वाले रामनामी। माथे पर राम नाम लिखवाने वाले को शिरोमणि। और पूरे माथे पर राम नाम लिखवाने वाले को सर्वांग रामनामी और पूरे शरीर पर राम नाम लिखवाने वाले को नखशिख रामनामी कहा जाता है।
    Ramnami Samaj Ka Itihas
    ज्यादातर रामनामी लोगों के घरों की दीवारों पर राम-राम लिखा होता है।
    -रामनामी समाज ने कानूनन रजिस्ट्रेशन कराया है और ड्रेमोक्रेटिक तरीके से उनके चुनाव हर 5 साल के लिए कराए जाते हैं।
    -आज कानून में बदलाव के जरिये समाज में ऊंच-नीच को तकरीबन मिटा दिया गया है और इन सबके बीच रामनामी लोगों ने बराबरी पाने की उम्मीद नहीं खोई है।

    Wednesday 7 December 2016

    कलावंती फोर्ट – यह है भारत का सबसे खतरनाक किला, एक चूक से चली जाती है जान

    By: Secret On: 17:00
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    Kalavantin Fort (Prabalgad Fort) Story & History In Hindi : आज हम आपको महाराष्ट्र के माथेरान और पनवेल के बीच स्थित प्रभलगढ़ किले के बारे में बता रहे हैं, जो कलावंती किले के नाम से मशहूर है। 2300 फीट ऊंची खड़ी पहाड़ी पर बने इस किले को भारत के खतरनाक किलों में गिना जाता है।
    Kalavantin Fort (Prabalgad Fort) Story & History In Hindi
    कलावंती फोर्ट (प्रभलगढ़ फोर्ट)
    इस किले के बारे में बताया जाता है कि कठिन रास्ता होने के कारण यहां बेहद कम लोग आते हैं और जो आता है वह सन सेट(सूर्यास्त) के पहले लौट जाता है। दरअसल, खड़ी चढ़ाई होने के कारण आदमी यहां लंबे समय तक नहीं टिक पाता है। साथ ही बिजली, पानी से लेकर यहां कोई भी व्यवस्था नहीं रहती। शाम होते ही मीलों दूर तक सन्नाटा फ़ैल जाता है।
    Kalavantin Fort (Prabalgad Fort) Kahani & Itihas
    बारिश के दिनों में कलावंती किला इस तरह नज़र आता है
    चट्टान काट कर बनाई गई सीडियां
    इस किले पर चढ़ने के लिए चट्टानों को काटकर सीढियां बनाई गई हैं। इन सीढ़ियों पर ना तो रस्सियां है और ना ही कोई रेलिंग। बताया जाता है कि चढ़ाई के समय जरा सी भी चूक हुई या पैर फिसला तो आदमी 2300 फीट नीचे खाई में गिरता है। इस किले से गिरने पर आज तक कई लोगों की मौत भी हो चुकी है।
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    Kalavantin Fort (Prabalgad Fort) Information In Hindi
    कलावंती किले पर बना प्राचीन दरवाजा
    शिवाजी के राज में बदला गया नाम
    इस किले का नाम छत्रपति शिवाजी महाराज के राज में बदला गया। पहले इस किले को मुरंजन किला कहा जाता था। बताया जाता है कि शिवाजी ने रानी कलावंती के नाम पर इस किले को नाम दिया।
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    कलावंती किले से मुंबई पुणे हाईवे इस तरह नज़र आता है
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    कलावंती किले के लिए इस तरह कच्चे रास्ते जाते हैं
    चोटी से दिखते हैं कई किले
    कलावंती दुर्ग के किले से चंदेरी, माथेरान, करनाल, इर्शल किले भी नज़र आते हैं। वहीं मुंबई शहर का कुछ इलाका भी इस किले से देखा जा सकता है। अक्टूबर से मई तक इस किले पर चढ़ाई की जा सकती है। बारिश के दिनों यहां चढ़ाई बेहद खतरनाक हो जाती है।

    ये हैं इंडिया के Top 5 ‘चोर बाजार’, यहां मिलता हैं सब कुछ, मोबाईल से लेकर गाडी तक

    By: Secret On: 07:00
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  • ये हैं इंडिया के Top 5 ‘चोर बाजार’, यहां मिलता हैं सब कुछ, मोबाईल से लेकर गाडी तक

    Know About India’s Top 5 Chor Bazaar : आज हम आपको देश के 5 ऐसे बड़े बाजारों के बारे में बता रहे हैं, जहां चोरी का सामान मिलता है। यहां चोरी के जूते, फोन, मोबाइल, गैजेट्स, ऑटो पार्ट्स से लेकर कार तक बेची जाती है। देश के इन चोर बाजार में चोरी की गाडी को मॉडिफाई करके बेचा जाता है। यहां अपनी गाड़ी या बाइक खड़ी करना खतरे से खाली नहीं हैं। गलती से आप अपनी गाड़ी पार्क कर देंगे, तो हो सकता है कि उसके स्पेयर पार्ट्स चोर बाजार की दुकानों पर नजर आएं। जानते हैं देश के ऐसे बाजारों के बारे में…..
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    मुंबई चोर बाजार (Mumbai Chor Bazaar) :-
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    मुंबई का चोर बाजार दक्षिणी मुंबई के मटन स्ट्रीट मोहम्मद अली रोड के पास है। ये मार्केट करीब 150 साल पुराना है। ये बाजार पहले ‘शोर बाजार’ के नाम से शुरू हुआ था क्योंकि यहां दुकानदार तेज आवाज लगाकर सामान बेचते थे, तो यहां काफी शोर रहता था। लेकिन अंग्रेज लोगों के ‘शोर’ को गलत बोलने के कारण इसका नाम ‘चोर’ बाजार पड़ गया।
    यहां सेकंड हैंड कपड़े, ऑटोमोबिल पार्ट्स और चुराई हुई घड़ियां और ब्रांडेड घड़ियों की रेप्लिका, चोरी के विंटेज और एंटीक सजावटी सामान मिलते हैं। इस मार्केट के लिए कहावत कही जाती है कि यहां आपके घर से चोरी हुआ सामान भी मिल जाएगा। मुंबई जाने पर ‘चोर बाजार’ जरूर घूमें।
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    क्या है फेमस
    यहां के रेस्तरां और कबाब काफी फेमस है। यहां जेबकाटने वालों से सावधान रहें।
    कब खुलता है?
    ये मार्केट रोजाना सुबह 11 बजे से शाम के 7.30 तक खुला रहता है।
    यहां के किस्से भी फेमस हैं
    यहां के बारे में कहा जाता है कि मुंबई की यात्रा के दौरान क्वीन विक्टोरिया का सामान शिप में लोड करते समय चोरी हो गया था। यही सामान बाद में मुंबई के चोर बाजार में मिला।
    दिल्ली का चोर बाजार (Chor Bazaar, Delhi) :-
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    ये देश का सबसे पुराना चोर बाजार है। पहले ये संडे मार्केट के तौर पर लाल किले के पीछे लगता था। अब ये दरियागंज में नावेल्टी और जामा मस्जिद के पास लगता है। ये बाजार मुंबई से अलग है। इसे कबाड़ी बाजार भी कहा जाता है। यहां हार्डवेयर से लेकर किचन इलेक्ट्रॉनिक का सामान मिलता है।
    कब लगती है मार्केट
    ये मार्केट जामा मस्जिद के पास संडे के दिन लगती है। यहां खरीदते समय प्रोडक्ट जांच ले क्योंकि जैसा वेंडर कहते हैं, वैसा प्रोडक्ट नहीं निकलता।
    यहां का किस्सा भी फेमस हैं
    यहां के लिए एक स्टोरी फेमस है कि एक आदमी ने यहां गाड़ी पार्क की थी। उसे अपनी गाड़ी के टायर दुकान में बारगेन करते समय मिले।
    सोती गंज, मेरठ, यूपी (Soti Ganj, Meerut):-
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    यूपी के मेरठ में सोती गंज मार्केट काफी फेमस है। इस मार्केट को चोरी की गाड़ियों और स्पेयर पार्ट्स का गढ़ माना जाता है। यहां सभी गाड़ियों के ऑटो पार्ट्स मिल जाएंगे। यहां चोरी, पुरानी और एक्सीडेंट में खराब हुई गाड़ियां आती है। मेरठ की सोतीगंज मार्केट एशिया की सबसे बड़ी स्क्रैप मार्केट भी है।
    कब खुलती है मार्केट
    ये मार्केट मेरठ सिटी में सुबह 9 बजे से शाम को 6 बजे तक खुलती रहती है। यहां सामान खरीदने के लिए आपको सही डीलर मिलना जरूरी है।
    यहां क्या है फेमस
    सोतीगंज में 1979 की अंबेस्डर का ब्रेक पिस्टन, 1960 की बनी महिंद्रा जीप क्लासिक का गेयर बॉक्स, वर्ल्ड वार II की विलिज जीप के टायर मिल जाएंगे।
    चिकपेटे, बेंगलुरु (Chickpet market, Banglore) :-
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    दिल्ली और मुंबई के चोर बाजार के मुकाबले बेंगलुरु कम फेमस है। ये मार्केट बेंगलुरु में चिकपेटे जगह पर संडे के दिन लगती है। यहां सेकेंड हैंड गुड्स, ग्रामोफोन, चोरी के गैजेट्स, कैमरा, एंटीक, इलेक्ट्रॉनिक आइटम और सस्ते जिम इक्विपमेंट मिलते हैं। ये मार्केट लोकल मार्केट की ही तरह है।
    कब लगती है मार्केट
    ये मार्केट एक गांव के मार्केट की ही तरह संडे के दिन लगती है।
    कहां लगती है मार्केट
    ये मार्केट बीवीके अयंगर रोड पर एवेन्यू रोड के पास लगती है।
    पुदुपेत्ताई, चेन्नई (Pudhupettai, Chennai) :-
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    सेंट्रल चेन्नई में स्थित ‘ऑटो नगर’ में पुरानी और चोरी की कारों को मॉडिफाई करते हैं। यहां हजारों की संख्या में दुकानें हैं। ये दुकानें गाड़ियों के ऑरिजनल पार्ट्स और कार को बदलने के लिए फेमस है। इन्हें इस काम में इंटरनेशनल एक्सपर्टीज है। यहां गाड़ियों के तमाम स्पेयर पार्ट्स से लेकर कार मॉडिफाई का सामान और सर्विस मिलती है। ये चोर बाजार गाड़ियों को बदलने का सबसे सस्ता जरिया है। इस मार्केट में कई बार पुलिस की रेड़ पड़ी है लेकिन ये तब भी कभी बंद नहीं हुई है।
    कब खुलती है मार्केट
    ये मार्केट एग्मोर ट्रेन स्टेशन से 1 किलोमीटर दूर है। ये सुबह 10 बजे से शाम के 6 बजे तक खुली रहती है।
    यहां क्या है फेमस
    यहां अपनी गाड़ी या बाइक कभी भी पार्क न करे। हो सकता है कि आपको अपनी गाड़ी के पार्ट्स मार्केट की दुकानों पर मिले।